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युद्ध की आशंका से गिरा भारतीय बाजार, अमेरिका ने दिखाए तेवर

 

मुंबई। रूस-यूक्रेन के बीच युद्ध की आशंका से आज भारत समेत दुनियाभर के शेयर बाजारों में गिरावट का दौर है। भारत मे आज सुबह बाजार खुलते ही निवेशकों को तगड़ा झटका लगा है। दोनों सूचकांकों में गिरावट देखने को मिली है। सेंसेक्स एक हजार पॉइंट्स गिरा है। साथ ही निफ्टी में भी गिरावट देखने को मिली है।

कारोबारी सप्ताह के दूसरे दिन मंगलवार को बाजार खुलते ही बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई ) का 30 शेयरों वाला सूचकांक सेंसेक्स 1100 अंक टूटकर 57 हजार से नीचे पहुंच गया है और 56,605 के स्तर पर खुला, जबकि नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) के निफ्टी सूचकांक ने 314 अंक फिसलकर 17 हजार के नीचे है।

रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने कल रात पूर्वी यूक्रेन में रूस समर्थित अलगाववादी क्षेत्रों डोनेत्स्क और लुहांस्क की स्वतंत्रता को मान्यता दे दी है। इस पर अमेरिका ने पूर्वी यूक्रेन में विद्रोही क्षेत्रों के खिलाफ वित्तीय प्रतिबंधों की घोषणा कर दी है।

उधर, रूस ने पूर्वी यूक्रेन के अलगाववादियों के कब्जे वाले हिस्सों में सैनिकों को भेजने का आदेश दिया है। रूस के रक्षा मंत्री क्रेमलिन ने इसे शांति व्यवस्था मिशन का नाम दिया है, लेकिन अमेरिका सहित कई अन्य देशों ने यूक्रेन पर हमले की आशंका जताई है। कई अमेरिकी और पश्चिमी देेेशों ने आशंका जताई है कि रूस का यह कदम यूक्रेन के खिलाफ एक बड़े सैन्य अभियान की शुरुआत हो सकती है। सोमवार रात एक भाषण में पुतिन ने पश्चिम के साथ कीव के बढ़ते सुरक्षा संबंधों की आलोचना की। साथ ही यूएसएसआर के इतिहास और यूक्रेनी समाजवादी सोवियत गणराज्य के गठन के बारे में लंबी टिप्पणियों में यूक्रेन के आत्मनिर्णय के अधिकार पर संदेह व्यक्त किया।

पुतिन के फरमानों ने पूर्वी यूक्रेन के डोनबास क्षेत्र में दो अलग-अलग क्षेत्रों डोनेट्स्क पीपुल्स रिपब्लिक और लुहान्स्क पीपुल्स रिपब्लिक (डीपीआर और एलपीआर) पर मास्को की आधिकारिक मान्यता से अवगत कराया। फरमानों ने उन्हें स्वतंत्र राज्यों के रूप में मान्यता दी और रूसी सैनिकों के साथ उनकी सुरक्षा की गारंटी दी। फरमानों में कहा गया है कि रूसी तथाकथित शांति सेना को क्षेत्रों में तैनात किया जाएगा।

दूसरी ओर अमेरिकी प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि पुतिन का भाषण रूसी लोगों के लिए युद्ध को सही ठहराने के लिए था। यह एक संप्रभु और स्वतंत्र यूक्रेन के विचार पर हमला है। अधिकारी ने कहा, “एक और रूसी आक्रमण और कब्जे की मानवीय लागत विनाशकारी होगी।”