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17  को इंदौर और 20 अप्रेल को सिरोही में होगा नामदेव विवाह सम्मेलन


इंदौर में परिचय सम्मेलन भी होगा, तैयारियां जोरों पर
इंदौर। मध्यप्रदेश के इंदौर शहर में 17 अप्रेल को नामदेव समाज का सामूहिक विवाह एवं परिचय सम्मेलन आयोजित किया जाएगा। इसके लिए तैयारियां जोरों पर हैं। विवाह समिति ने ज्यादा से ज्यादा पंजीयन के लिए सभी समाजबंधुओं से आग्रह किया है।
सभी समाजबन्धुओं से अनुरोध है 17 अप्रेल को इंदौर मध्यप्रदेश में विवाह एवं परिचय सम्मेलन है जिसमें अब 1 माह भी शेष नही है तो कृपया यह समाचार सभी रिश्तेदारों तथा समाज बंधुओं तक पहुचाऐं जो भी भाई एवं बहिन जिनके विवाह तय हो चुके हैं उनके परिवार विवाह, सम्मलेन के माध्यम से करने के इच्छुक हों, वे तथा परिचय सम्मलेन द्वारा विवाह योग्य भाई एवं बहिन अधिक से अधिक संख्या में फॉर्मेट पर अपना परिचय भरकर दिए पते पर 31 मार्च तक पहुंचा दें जिससे कार्यक्रम का लाभ अधिक से अधिक समाजबंधुओं द्वारा लिया जा सके और सभी से निवेदन है कार्यक्रम में अधिक से अधिक समाजबंधु पहुंचकर परिचय एवं विवाह सम्मेलन इंदौर को सफल बनाने में अपना योगदान सुनिश्चित करें
नोट:-कार्यक्रम में सहभागिता लेने बावत इच्छुक समाजबंधु, संगठन सचिव अजय नामदेव +918871077078 अथवा नंदकिशोर नामदेव(चार्ली टेलर) 8817475705 से जल्द ही संपर्क करें।

20 अप्रेल को होगा तृतीय विवाह सम्मेलन
सिरोही में श्री नामदेव(हिन्दू) छीपा समाज अहमदाबाद, श्री नामदेव युवा संगठन अहमदाबाद, श्री रा.ना.यु.संगठन श्री नामदेव युवा समाज सिरोही आदि के सहयोग से 20 अप्रेल 2016 को सामूहिक विवाह सम्मेलन आयोजित किया जाएगा।
सम्मेलन में 17 जोड़े हजारों समाजबंधुओं की मौजूदगी में परिणय सूत्र में बंधेंगे। समिति पदाधिकारी आयोजन की तैयारियों में जुटे हैं। समाज के लोग इस सम्मेलन में परिणय सूत्र में बंधने वाली बेटियों को कन्यादान के रूप में मुक्तहस्त से कोई भी उपहार देकर पुण्य कमा सकते हैं। कन्यादान के लिए छगनलाल जे.परारिया के मोबाइल नंबर 9825861189 व मूलचंद पी.परमार के मोबाइल नंबर 9426520664 पर संपर्क कर सकते हैं।
भारतीय संस्कृति में है कन्यादान का विशेष महत्व
भारतीय संस्कृति में दान-पुण्य का बड़ा महत्व है। कन्यादान को सबसे बड़ा दान माना गया है। कबीर दास जी ने भी कहा

चिडिय़ा चोंच भर गई घट्यो न नदी को नीर।

दान दियो धन घटे ना कह गए दास कबीर।।

समाजबंधुओं के सामने दान-पुण्य का अवसर आया है। वे अपनी क्षमतानुसार सभी 17 बेटियों को कन्यादान में कोई वस्तु दे सकते हैं।