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सलमान काले हिरण शिकार मामले में हाई कोर्ट से बरी

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 जयपुर। अठारह साल पहले काले हिरण शिकार के दो मामलों में अभिनेता सलमान खान को हाईकोर्ट से सोमवार को बड़ी राहत मिली है। जोधपुर में जस्टिस निर्मलजीत कौर ने निचली अदालत के फैसले को खारिज करते हुए सलमान खान को बरी कर दिया है।

इससे पहले सलमान खान को पिछले साल मुंबई में हिट एंड रन केस मामले में भी कोर्ट ने बरी किया था। वर्ष 1998 में फिल्म `हम साथ-साथ हैं` की शूटिंग के दौरान दो काले हिरण के शिकार के मामले में सलमान खान को  पांच साल कैद की सजा सुनाई थी। ऐसे में अटकले थी कि यदि कोर्ट निचली अदालत के फैसले को कायम रखता है तो सलमान को जेल जाना पड़ सकता था, लेकिन सभी अटकलों को खारिज करते हुए कोर्ट ने सलमान को बड़ी राहत देते हुए इस मामले से उन्हें पूरी तरह बरी कर दिया।

सलमान की ओर से उनकी बहन अलवीरा अग्निहोत्री अपने वकील के साथ जोधपुर हाई कोर्ट पहुंची थी। गौरतलब है कि अभिनेता ने सेशन कोर्ट के फैसले के खिलाफ ऊपरी अदालत में अपील की थी। हाई कोर्ट में मई महीने में ही सुनवाई खत्म हो चुकी थी और फैसला सुरक्षित रख लिया गया था ।

यह था पूरा मामला
जोधपुर के पास भवाद गांव में 1998 में फिल्म की शूटिंग के दौरान 26-27 सितंबर की रात चिंकारा शिकार मामले में सलमान खान को पहली बार 17 फरवरी 2006 को जोधपुर की निचली अदालत से एक साल की सजा हुई थी लेकिन बाद में जोधपुर हाई कोर्ट से उन्हें जमानत मिल गई। तब सलमान को 10 से 15 अप्रैल 2006 तक 6 दिन केंद्रीय कारागृह में रहना पड़ा। सेशन कोर्ट द्वारा इस सजा की पुष्टि करने पर सलमान को एक बार फिर 26 से 31 अगस्त 2007 तक जेल में रहना पड़ा था। इस मामले में सलमान खान के साथ अभिनेता सैफ अली खान, अभिनेत्री तब्बू, सोनाली बेंद्रे और नीलम पर भी शिकार के लिए सलमान को उकसाने का आरोप थे।

संभवतया इन 5 कारणों के चलते बरी हुए सलमान
केस की सुनवाई के दौरान संभवत: ऐसी पांच बातें सामने आई हैं, जिन पर अदालत ने गौर करते हुए सलमान बरी किया।

1- छर्रे अलग, चाकू भी छोटा
पुलिस को उम्मेद भवन में सलमान के कमरे की तलाशी में बंदूक की गोलियां मिली थीं जबकि जिप्सी में मिले छर्रे, उन गोलियों के नहीं थे। पुलिस ने हिरण का गला रेतने वाला कथित चाकू बरामद किया था, लेकिन यह पॉकेट चाकू है, जिससे गला रेतना मुश्किल होता है।

2- जिप्सी सर्च की अलग रिपोर्ट
वन विभाग ने सलमान खान की जिप्सी जब्त कर तलाशी ली। इसकी सर्च रिपोर्ट में सिर्फ खून के धब्बे मिले। बाद में पुलिस ने भी जिप्सी की तलाशी ली। उन्हें जिप्सी में छर्रे, हिरण के बाल मिले लेकिन वन विभाग को ये चीजें तलाशी में नहीं मिली। इस तरह दोनों सर्च रिपोर्ट भी अलग-अलग हो गई।

3- सह-आरोपी बरी तो सलमान दोषी कैसे?
भवाद और घोड़ा फार्म हाउस के मुकदमों में सलमान के साथ 12 आरोपी थे। इनमें से 10 को संदेह का लाभ मिला। कोर्ट के सामने कुछ ऐसे सवाल हैं, जिन पर गौर किया जाए तो सलमान को संदेह का लाभ मिल सकता है। मुंबई का रहने वाला शिकार के लिए कैसे उम्मेद पैलेस से निकला? कैसे पता चला कि हिरण यहां मिलेंगे? कोई तो उसे ले गया होगा? जब दूसरे बरी हो गए तो सलमान अब तक आरोपी क्यों हैं?

4-सूत्रधार ही हो गया गायब
वन अधिकारी ललित बोड़ा ने दवा व्यापारी अरूण के ड्राइवर हरीश दुलानी के बयान पर शिकार के मुकदमे दर्ज करवाए थे। वन विभाग ने मजिस्ट्रेट के समक्ष बयान करवा कर उसे छोड़ा था, जबकि डिफेंस की ओर से उसका क्रॉस वेरिफिकेशन ही नहीं हुआ। वह इसके बाद से ही गायब हो गया।

5-सजा बढ़ाने की अपील क्यों?
सरकार ने सलमान खान की एक साल की सजा को कम माना। अभिनेता की सजा बढ़ाने और गोरधन सिंह को फिर से आरोपी मानने के लिए दो अपीलें की गईं। ऐसे में सवाल ये है कि सरकार ने दूसरे 11 लोग जो बरी हो चुके, उन्हें गोरधन की तरह फिर से आरोपी बनाने की अपील क्यों नहीं की? प्रोसिक्यूशन के पास इसका ठोस जवाब नहीं था।

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